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सिर्फ 31 साल की उम्र में दुनिया को अलविदा कह गई थी सूर्यवंशम की ये संस्कारी बहू

राजेश खन्ना और अमिताभ बच्चन की यादगार फिल्म 'आनंद' का एक संवाद बहुत मशहूर है - जिंदगी बड़ी होनी चाहिए, लंबी नहीं। फिल्म जगत में ऐसे कई सितारे हैं जिन पर यह संवाद हूबहू लागू होता है। वे अपने दर्शकों को ऐसी फिल्में देकर गए जो आज भी उनकी याद दिलाती
हैं, लेकिन वे खुद इस दुनिया को बहुत जल्द अलविदा भी कह गए।


कुछ ऐसी ही कहानी सौंदर्या की भी है। वे साउथ की मशहूर अभिनेत्री थीं लेकिन उन्हें बॉलीवुड में पहचान 'सूर्यवंशम' से मिली। 'सूर्यवंशम' 1999 में रिलीज हुई थी। इस फिल्म में उनके हीरो अमिताभ बच्चन थे। यह पारिवारिक रिश्तों पर आधारित फिल्म थी, जिसमें सौंदर्या ने एक संस्कारी बहू का रोल किया था। फिल्म की कामयाबी ने उन्हें उत्तर भारत में भी लोकप्रिय बना दिया।

18 जुलाई 1972 को कर्नाटक में जन्मीं सौंदर्या ने उम्र तो सिर्फ 31 साल ही पाई, लेकिन उनकी फिल्मों की फेहरिस्त बहुत बड़ी है। उन्होंने वर्ष 1992 में कन्नड़ फिल्मों से अभिनय की शुरुआत की थी। 2004 तक उनके खाते में सौ से ज्यादा फिल्में थीं। उन्हें कई पुरस्कारों से सम्मानित​ किया गया था।

वर्ष 2004 आते-आते वे बेहद मशहूर हो चुकी थीं। फिल्म इंडस्ट्री में उनकी मांग बढ़ गई थी। अब सौंदर्या राजनीति में भी दिलचस्पी लेने लगी थीं। चूंकि उसी साल लोकसभा चुनाव भी थे, इसलिए वे एक पार्टी के लिए चुनाव प्रचार करने जा रही थीं। 17 अप्रेल 2004 को बेंगलूरु के पास उनका एयरक्राफ्ट दुर्घटनाग्रस्त हो गया। उस दुर्घटना में सौंदर्या का देहांत हो गया। उस समय उनकी उम्र करीब 31 साल थी। आज भी लोग 'सूर्यवंशम' की संस्कारी बहू को भूले नहीं हैं। वे उनके अभिनय की बहुत तारीफ करते हैं।